सोमवार, 21 दिसंबर 2020

OBC आरक्षण की अनदेखी पर NCBC आज करेगा दिल्ली विश्वविद्यालय का दौरा, UGC अध्यक्ष और सचिव भी तलब

आयोग ने भारत सरकार के शिक्षा मंत्रालय के सचिव को भी मौजूद रहने का दिया आदेश। दिल्ली विश्वविद्यालय में अन्य पिछड़ा वर्ग के आरक्षण और उनके अधिकारों के हनन को लेकर राष्ट्रीय पिछड़ा वर्ग आयोग को मिली थीं शिकायतें। 21 दिसंबर को सुबह 11 बजे से होगा आयोग के पूर्ण बेंच का दौरा।  

वनांचल एक्सप्रेस ब्यूरो

नई दिल्ली। अन्य पिछड़ा वर्ग (OBC) के आरक्षण और उनके अधिकारों की अनदेखी को लेकर राष्ट्रीय पिछड़ा वर्ग आयोग (NCBC) आज दिल्ली विश्वविद्यालय का दौरा करेगा। आयोग ने इस दौरान भारत सरकार के शिक्षा मंत्रालय के सचिव, विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (UGC) के अध्यक्ष और सचिव को भी मौजूद रहने का निर्देश दिया है। आयोग के संयुक्त निदेशक (प्रशासन) डॉ. एम.एम. चटोपाध्याय ने विश्वविद्यालय के कुलपति समेत उन्हें पत्र लिखकर सूचित किया है। 

शनिवार, 19 दिसंबर 2020

मोदी सरकार ने IB में OBC और ST की सीटों पर डाला डाका, OBC को 123 पदों और ST को 29 पदों का नुकसान

पूर्व भाजपा अध्यक्ष और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह की अगुवाई वाली केंद्रीय खुफिया विभाग (IB) में असिस्टेंट सेंट्रल इंटेलिजेंस ऑफिसर (ग्रेड-III) के पदों पर SC-ST-OBC को केवल 45 फीसदी पदों पर ही दिया आरक्षण। वर्ष 2016 में स्वतंत्रता दिवस के मौके पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा समूह ग और घ की नौकरियों से साक्षात्कार खत्म करने के ऐलान के बाद भी केंद्रीय खुफिया विभाग की समूह 'ग' के पदों की भर्ती प्रक्रिया में 100 अंक का साक्षात्कार शामिल। 

reported by Shiv Das Prajapati

राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) नीत भाजपा की अगुआई वाली मोदी सरकार द्वारा एससी, एसटी और ओबीसी आरक्षण के खिलाफ चलाया जा रहा अभियान रुकने का नाम नहीं ले रहा है। भारत सरकार में नंबर दो की हैसियत रखने वाले पूर्व भाजपा अध्यक्ष और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह की अगुवाई वाले केंद्रीय गृह मंत्रालय ने एससी, एसटी और ओबीसी के संवैधानिक आरक्षण को 49.5 प्रतिशत की जगह 45 फीसदी तक सीमित कर दिया है। इससे केंद्रीय खुफिया विभाग (IB) में विज्ञापित असिस्टेंट सेंट्रल इंटेलिजेंस ऑफिसर (ग्रेड-III) पद पर अन्य पिछड़ा वर्ग (OBC) को 123 पदों और अनुसूचित जनजाति वर्ग (ST) को 29 पदों का नुकसान हुआ है।  इतना ही नहीं, समूह 'ग' वाली नौकरी की भर्ती प्रक्रिया में 100 अंक का साक्षात्कार रखकर अनारक्षित वर्ग के 989 पदों पर अधिक से अधिक सवर्णों को भर्ती करने का रास्ता साफ कर लिया गया है।  

बुधवार, 16 दिसंबर 2020

किसान आंदोलन के समर्थन में बाबा राम सिंह ने की खुदकुशी

मौके पर मिले सुसाइड नोट में लिखा- यह जुल्म के खिलाफ एक आवाज है...

वनांचल एक्सप्रेस ब्यूरो

नई दिल्ली। केंद्र की मोदी सरकार के तीन नए कृषि कानूनों के खिलाफ चल रहे किसान आंदोलन के समर्थन में करनाल स्थित गुरुद्वारा के ग्रंथी बाबा राम सिंह ने खुदकुशी कर ली है। उन्होंने पंजाबी भाषा में एक सुसाइड नोट छोड़ा है। इसमें उन्होंने लिखा है- यह जुल्म के खिलाफ एक आवाज है। 

BHU-IMS के चिकित्सकों ने दूरबीन विधि से फियोक्रोमोसाइटोमा ट्यूमर का किया सफल ऑपरेशन

शल्य चिकित्सा विभाग के प्रो. विवेक श्रीवास्तव और उनकी टीम ने किया ऑपरेशन....

वनांचल एक्सप्रेस ब्यूरो

वाराणसी। काशी हिन्दू विश्वविद्यालय (BHU) के चिकित्सा विज्ञान संस्थान (IMS) के चिकित्सकों ने दूरबीन विधि से फियोक्रोमोसाइटोमा ट्यूमर का सफल ऑपरेशन किया है। उनका दावा है कि यह अपनी तरह की पहली एडवांस लैपरोस्कोपिक सर्जरी है। ऐसे मामलों में ट्यूमर दाहिनी किडनी के ऊपर और आईवीसी नस के समीप होता है। इससे ब्लड प्रेशर में काफी उतार-चढ़ाव होता रहता है। इसलिए इसका ऑपरेशन करना बहुत ही जटील होता है। 

मंगलवार, 15 दिसंबर 2020

खेती में विदेशी कंपनियों और कॉर्पोरेट की लूट बढ़ा रही सरकार: AIKSCC

फोटो साभारः फेसबुक सोशल मीडिया
अखिल भारतीय किसान संघर्ष समन्वय समिति (AIKSCC) ने सरकारी गतिविधियों और बयानों पर स्पष्ट की स्थिति। समिति के वर्किंग ग्रुप ने कहा- सरकार ऐसे लोगों से दिखावटी व भटकाने वाली वार्ता कर रही है, जो न तो संघर्षरत किसानों के प्रतिनिधि हैं, न उनकी मांग के पक्ष में हैं...

वनांचल एक्सप्रेस ब्यूरो

नई दिल्ली। अखिल भारतीय किसान संघर्ष समन्वय समिति (AIKSCC) ने कहा है कि सरकार खेती में विदेशी कंपनियों और कॉर्पोरेट की लूट बढ़ा रही है। सरकार देश में विकसित हो रहे ऐसे क्षेत्रों को कॉर्पोरेट तथा विदेशी निवेशकों के हवाले कर रही है। सरकार के तीनों कानूनों से किसानों की आमदनी पूरी तरह से समाप्त हो जाएगी। किसानों के कर्ज बढ़ेंगे और उनकी जमीन छिनेंगी जबकि कारपोरेट की आय में बढ़ोत्तरी होगी। इसलिए समिति तीन कानूनों के रद्दीकरण की मांग कर रही है। 

मोदी सरकार के कृषि कानूनों के खिलाफ बनारस में किसानों, छात्रों और समाजसेवियों ने किया प्रदर्शन

ज्वाइंट एक्शन कमेटी, समाजवादी जनपरिषद, उत्तर प्रदेश किसान सभा, भारतीय किसान यूनियन, सर्व सेवा संघ, मनरेगा मजदूर यूनियन, महिला चेतना समिति आदि ने दिल्ली में धरनारत किसानों की मांगों को दिया समर्थन। 

वनांचल एक्सप्रेस ब्यूरो

वाराणसी। भाजपा की अगुआई वाली केंद्र की राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) सरकार के कृषि कानूनों के खिलाफ किसानों समेत छात्रों और समाजसेवियों ने सोमवार को विभिन्न इलाकों में जमकर प्रदर्शन किया और मोदी सरकार के खिलाफ नारेबाजी की। साथ ही उन्होंने दिल्ली में आंदोलनरत किसानों के समर्थन में लोगों से अपने घरों से बाहर निकलकर समर्थन देने का आह्वान किया।

ग्राम प्रधान ने नहीं सुनी फरियाद तो ग्रामीणों ने खुद बना लिया खड़ंजे का रास्ता

हर परिवार पर 100 रुपये के चंदे से इकट्ठा किए खड़ंजे की लागत, श्रमदान कर ग्रामीणों ने लिखा इतिहास। गांव की जातिगत राजनीति में फंसा था बदहाल करीब 100 मीटर रास्ते का निर्माण।  

reported by अच्छेलाल प्रजापति

मऊ। पूर्व केंद्रीय मंत्री और सांसद कल्पनाथ राय के कार्यों से पहचाने जाने वाले मऊ जनपद में देवखरी गांव के ग्राम प्रधान की उपेक्षा से परेशान ग्रामीणों ने पिछले दिनों आपसी चंदे और श्रमदान से करीब 100 मीटर लंबे रास्ते पर खड़ंजा बिछाकर खुद ही अपनी मुश्किलें हल करने की पहल की। त्रिस्तरीय पंचायत चुनावों के मद्देनजर उनके इस कार्यों की चर्चा आस-पास के गांवों में बड़े पैमाने पर हो रही है। लोग ग्राम प्रधान की दावेदारी करने वाले उम्मीदवारों पर उसका हवाला देकर सवाल खड़ा कर रहे हैं।    

शनिवार, 12 दिसंबर 2020

BHU: रात में गुंडागर्दी के बाद दिन में झुका विश्वविद्यालय प्रशासन, सोमवार से खुलेगी सेंट्रल लाइब्रेरी

काशी हिन्दू विश्वविद्यालय को खोलने की मांग को लेकर कुलपति आवास के सामने छात्रों का चल रहा अनिश्चितकालीन धरना कुलपति से वार्ता के बाद समाप्त। धरनारत छात्रों का दावा- 14 दिसंबर से केंद्रीय पुस्तकालय और साइबर लाइब्रेरी को 300 छात्र-छात्राओं के लिए खोलने पर बनी सहमति। सेमेस्टर परीक्षाओं के खत्म होने के बाद छात्रावासों को खोलने पर भी बनी सहमति। 

वनांचल एक्सप्रेस ब्यूरो

वाराणसी। काशी हिन्दू विश्वविद्यालय (BHU) को विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (यूजीसी) के दिशा-निर्देशों के तहत खोलने की मांग को लेकर कुलपति आवास के सामने विश्वविद्यालय के छात्रों का चल रहा अनिश्चितकालीन धरना शुक्रवार की शाम कुलपति से वार्ता के बाद समाप्त हो गया। वार्ता में शामिल धरनारत छात्रों का कहना है कि विश्वविद्यालय प्रशासन सोमवार से 300 छात्र-छात्राओं के लिए केंद्रीय पुस्तकाल और साइबर लाइब्रेरी खोलने के लिए तैयार हो गया है। साथ ही 50 छात्र-छात्राओं के लिए सिटी डेलीगेसी भी खुलेगा। हालांकि छात्रावासों और विश्वविद्यालय को पठन-पाठन के लिए खोलने पर अभी सहमति नहीं बन पाई है। 

बुधवार, 9 दिसंबर 2020

किसान आंदोलनः मोदी सरकार के हठ ने ली 4 किसानों की जान, पंजाब के मुख्यमंत्री ने 5-5 लाख रुपये देने का किया ऐलान

भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की अगुआई वाली मोदी सरकार के हठ से किसान आंदोलन में अब तक पांच मौतें हो चुकी हैं! इनमें से चार किसान थे। वहीं, पंजाब की कांग्रेस सरकार के मुखिया अमरिन्दर सिंह ने मृतक किसानों के परिजनों को पांच-पाच लाख रुपये की आर्थिक मदद देने की घोषणा की है। पढ़िए जनचौक के विशेष संवाददाता सुशील मानव की यह रिपोर्टः

किसान आंदोलन में अब तक पांच लोगों की मौत हो चुकी है। इसमें से चार मौतें बहादुरगढ़ में धरने पर बैठे किसानों की हुई हैं। बताया जा रहा है कि इनमें तीन किसानों की मौत बीमार होने से हुई हैं जबकि किसानों का ट्रैक्टर ठीक करने आए एक ट्रैक्टर मकैनिक की मौत उसकी स्वीफ्ट कार में आग लगने से हो गई थी। 

मंगलवार, 8 दिसंबर 2020

BHU-VC और छात्रों के बीच फिर ठनी, छात्रों के अनिश्चितकालीन धरने के तीसरे दिन हॉस्टल खाली कराने की कोशिश नाकाम

BHU-VC आवास के सामने धरना देते छात्र
काशी हिन्दू विश्वविद्यालय (बीएचयू) के दर्जनों छात्र कुलपति आवास के सामने पिछले चार दिनों से अनिश्चितकालीन दे रहे धरना। विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (UGC) के निर्देशानुसार विश्वविद्यालय, पुस्तकालय और हॉस्टल खोलने की कर रहे मांग। छात्रों का आरोप- पुलिस प्रशासन और अराजक तत्वों के बल पर विश्वविद्यालय प्रशासन धरना खत्म कराने की कर रहा कोशिश।    

वनांचल एक्सप्रेस ब्यूरो

वाराणसी। कोरोना वायरस (COVID-19) से उपजे हालात और लॉक-डाउन से प्रभावित शैक्षिक प्रक्रिया से चिंतित काशी हिन्दू विश्वविद्यालय (बीएचयू) के छात्रों और कुलपति के बीच फिर ठन गई है। पुस्तकालयों और छात्रावासों समेत विश्वविद्यालय को खोलने की मांग को लेकर दर्जनों छात्र पिछले चार दिनों से कुलपति आवास के सामने धरना दे रहे हैं लेकिन कुलपति ने उनसे मिलने या वार्ता करने की जहमत तक नहीं उठाई। इसके उलट विश्वविद्यालय प्रशासन ने सोमवार को बिड़ला 'ए' छात्रावास में रह रहे करीब 50 छात्रों से कमरा खाली कराने की नाकाम कोशिश की। विश्वविद्यालय प्रशासन के इस रवैये से नाराज छात्रों ने मार्च निकाला और विश्वविद्यालय प्रशासन के खिलाफ जमकर नारेबाजी की। छात्रों का साफ कहना था कि अगर विश्वविद्यालय प्रशासन ने छात्रावासों में रह रहे छात्रों को उनके कमरों से बाहर निकालने की कोशिश की तो वे चुप नहीं बैठेंगे। साथ ही उन्होंने विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (यूजीसी) के दिशा-निर्देशों के तहत पुस्तकालयों और छात्रावासों समेत विश्वविद्यालय को तुरंत खोले जाने की मांग की।

रविवार, 6 दिसंबर 2020

जातिगत भेदभाव के आरोपों के साथ BHU में मनी डॉ. अंबेडकर की पुण्यतिथि

भारत रत्न डॉ. भीमराव अंबेडकर के 65वें परिनिर्वाण दिवस पर काशी हिन्दू विश्वविद्यालय (BHU) स्थित के.एन. उडुप्पा सभागार में संगोष्ठी का हुआ आयोजन। वक्ताओं ने बीएचयू प्रशासन पर लगाया जाति आधार पर भेदभाव करने का आरोप। 

वनांचल एक्सप्रेस ब्यूरो

वाराणसी। भारत रत्न बाबा साहेब डॉ. भीमराव अंबेडकर के 65वें परिनिर्वाण दिवस के मौके पर काशी हिन्दू विश्वविद्यालय (बीएचयू) स्थित के.एन. उडुप्पा सभागार में एससी, एसटी और ओबीसी वर्गों के छात्रों एवं शिक्षकों ने एक कार्यक्रम का आयोजन किया। इस दौरान वक्ताओं ने बीएचयू प्रशासन पर जाति के आधार पर एससी, एसटी, ओबीसी और अल्पसंख्यक वर्ग के लोगों के साथ भेदभाव का आरोप लगाया। साथ ही उन्होंने डॉ. अंबेडकर द्वारा लिखित भारतीय संविधान के उद्देश्यों की पूर्ति के लिए संगठित होकर संघर्ष करने का आह्वान किया। 

शुक्रवार, 30 अक्तूबर 2020

BHU में जातिगत भेदभाव को लेकर छात्रों और नागरिकों ने किया प्रदर्शन

काशी हिन्दू विश्वविद्यालय (बीएचयू) के विधि संकाय में अन्य पिछड़ा वर्ग के प्रोफेसर पद पर एकल योग्य अभ्यर्थी के रूप में चयनित डॉ. मुकेश कुमार मालवीय समेत एससी, एसटी और ओबीसी के साथ होने वाले भेदभाव पर आंदोलन की चेतावनी।

वनांचल एक्सप्रेस ब्यूरो

काशी हिन्दू विश्वविद्यालय (बीएचयू) में एससी, एसटी और ओबीसी छात्रों और अभ्यर्थियों के साथ हो रहे जातिगत भेदभाव के खिलाफ छात्रों और नागरिकों ने बृहस्पतिवार को लंका स्थित बीएचयू गेट के सामने प्रदर्शन किया। साथ ही उन्होंने विश्वविद्यालय के विधि संकाय में अन्य पिछड़ा वर्ग के प्रोफेसर पद पर एकल योग्य अभ्यर्थी एवं उसी संकाय में असिस्टेंट प्रोफेसर डॉ. मुकेश कुमार मालवीय का साक्षात्कार कराने की मांग की। प्रदर्शनकारियों ने विश्वविद्यालय प्रशासन को चेतावनी दी कि अगर एससी, एसटी, ओबीसी के खिलाफ जातिगत भेदभाव नहीं रुका तो वे विश्वविद्यालय प्रशासन के खिलाफ बड़ा आंदोलन छेड़ेंगे। 

बुधवार, 28 अक्तूबर 2020

BHU में फिर दिखा सवर्णों का जातिवाद, प्रोफेसर पद पर OBC के गोल्ड मेडलिस्ट योग्य अभ्यर्थी का साक्षात्कार लेने से किया इंकार

विश्वविद्यालय प्रशासन ने ओबीसी कैटगरी के पद पर एकल योग्य उम्मीदवार का साक्षात्कार नहीं लेने के विवादित नियम का दिया हवाला। 

reported by Shiv Das

आज बहुत दुख के साथ कहना पड़ रहा है कि महामना पंडित मदन मोहन मालवीय जी की बगिया में मेरे साथ अन्याय हो रहा है। पढ़ाई लिखाई में हमेशा गोल्ड मेडल लाया। एलएलबी, एलएलएम, एमफिल, सभी में अव्वल रहा। 25 पुस्तकें लिखीं, 500 से ज्यादा पेपर लिखे, 500 से अधिक पेपर पढ़ा। 100 अवार्ड पाया। मेरे गुरुजन, मेरे साथी, मेरे सहयोगी सभी मेरी काबलियत से वाकिफ हैं।...बीएचयू में प्रोफेसर का इश्तहार पढ़कर मैंने भी फॉर्म डाला। 31.10.2020 को मुझे इंटरव्यू देना था। न मालूम किस की नजर लगी। मेरे नाम को आज हटा दिया गया। पहले बुलाया, बाद में अपने से हटा दिया गया। ये किसी योग्यता प्राप्त व्यक्ति के साथ होना एक दुर्भाग्यपूर्ण बात है। मैं ओबीसी हूं। ...आज चंद लोंगो की भेदभाव भरी अनीति से मेरी योग्यता का अंतिम संस्कार हो गया।

बुधवार, 14 अक्तूबर 2020

RTI: सोनभद्र के BSA डॉ. गोरखनाथ पटेल पर 25 हजार का जुर्माना, तीन माह में जमा करनी होगी धनराशि

उत्तर प्रदेश सूचना आयोग के रजिस्ट्रार ने जुर्माना की वसूली के लिए सोनभद्र के जिलाधिकारी और कोषाधिकारी समेत बेसिक शिक्षा विभाग के प्रमुख सचिव को भी लिखा पत्र। सोनभद्र के रॉबर्ट्सगंज विकासखंड के तिनताली गांव निवासी शिव दास प्रजापति ने राज्य सूचना आयोग में की थी अपील। बेसिक शिक्षा विभाग द्वारा मान्यता प्राप्त और कागज पर संचालित ग्रामोदय शिशु विद्या मंदिर के बारे में छह बिन्दुओं पर जुलाई 2016 में मांगी थी सूचना। 

वनांचल एक्सप्रेस ब्यूरो

त्तर प्रदेश सूचना आयोग ने सोनभद्र के जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी (BSA) डॉ. गोरखनाथ पटेल पर 25000 रुपये का जुर्माना (अर्थदंड) लगाया है। आयोग के रजिस्ट्रार ने सोनभद्र के जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी, जिलाधिकारी और कोषाधिकारी समेत बेसिक शिक्षा विभाग के प्रमुख सचिव को पत्र लिखकर तीन माह के अंदर उनके वेतन से अर्थदंड की वसूली कर संबंधित लेखा में जमाकर करने का आदेश दिया है।

सोमवार, 12 अक्तूबर 2020

भागीदारी और उपेक्षा से नाराज बनारसी कुम्हारों का ऐलान, चुनावों में दिखाएंगे सामुहिक ताकत

प्रजापति शोषित समाज संघर्ष समिति (पीएस4) के स्थापना दिवस पर विभिन्न कुम्हार संगठनों ने की सामुहिक बैठक। बिहार विधानसभा चुनाव में कुम्हार समुदाय के किसी भी व्यक्ति को टिकट नहीं मिलने पर जताई नाराजगी।

वनांचल एक्सप्रेस ब्यूरो

भारतीय जनता पार्टी की अगुआई वाली उत्तर प्रदेश सरकार समेत विभिन्न राजनीति पार्टियों की उपेक्षा से नाराज कुम्हार समुदाय के लोगों ने रविवार को वाराणसी के मीरापुर-बसही में बैठक की। इसमें समुदाय के बीच कार्य करने वाले विभिन्न सामाजिक संगठनों और राजनीतिक पार्टियों के पदाधिकारियों समेत समाज के प्रभावशाली लोग शामिल हुए। सभी ने कुम्हार समुदाय को संगठित कर आगामी चुनावों में अपनी ताकत दिखाने का सामुहिक निर्णय लिया। साथ ही उन्होंने आगामी पंचायत चुनावों में इसका प्रयोग कर आगामी रणनीति पर काम करने की चर्चा की।

रविवार, 11 अक्तूबर 2020

भाषाई प्रोपेगैंडा में छिपी RSS की राजनीति और उसका अंतिम विकल्प

अब संघ के लिए हिंदुओं के उस वर्ग को हटाना आसान हो गया जो संघ की नफरत में उसके साथ नहीं है। अब संघ वामपंथी कहकर "हिंदुओं" को भी साफ कर सकता है और आपको ये भी लगेगा कि संघ हिंदुओं की लड़ाई लड़ रहा है। इस प्रोपेगैंडा का प्रतिफल ये निकला है कि संघ के समर्थक आपको ये कहते हुए मिल जाएंगे कि "हिंदुओं के असली दुश्मन तो हिंदुओं का पढ़ा लिखा वर्ग ही है", "इस देश को सबसे अधिक खतरा तो 'ज्यादा' पढ़े लिखे लोगों से है"...

written by श्याम मीरा सिंह

संघ (राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ या RSS) का हमेशा से एक गूढ़ उद्देश्य रहा है कि उसको कथित ऊंची जातियों की, उसमें भी ऊंची जातियों के सक्षम पूंजीपतियों की, सत्ता स्थापित करनी थी। इसके लिए उसके पास "हिन्दू धर्म" का चोगा ही अंतिम विकल्प था। चूंकि लोकतंत्र में सीधे एक दो जाति की श्रेष्ठता का दावा करके विजयी नहीं हुआ जा सकता था, इसलिए अपनी जातियों को आगे बढ़ाने के लिए उस धर्म को चुना गया जिसमें उन्हें शीर्ष पर रहने की वैधता मिली हुई थी। यही कारण है कि संघ ने सीधे जाति से न लड़कर धर्म का रास्ता चुना। अब धर्म के राज की स्थापना के लिए जरूरी है कि "सेक्युलरिज्म" जैसे शब्द को अप्रसांगिक किया जाए। यही कारण है कि संघ की विचारधारा मानने वालों ने सबसे अधिक निशाना बनाया तो सेक्युलरिज्म (धर्मनिरपेक्षता) शब्द को। 

शनिवार, 10 अक्तूबर 2020

जाति और धर्म की मूसलाधार जहरीली जड़ों में लिखी जा रही 'दुष्कर्म' की परिभाषा

मीडिया और सम्पूर्ण भारतीय समाज ने बिना जातीय प्रभाव के तीनों घटनाओं (दिल्ली, हैदराबाद और पालघर) की कड़ी आलोचना की लेकिन हाथरस की घटना में स्थितियां उलट गईं। अब यहां आरोपी सवर्ण और पीड़ित दलित है। अब उसी समाज के लोग, जो उपर्युक्त घटनाओं में तत्काल गोली मारने और फांसी देने की मांग सड़क से लेकर सोशल मीडिया पर कर रहे थे, इस घटना में न्यायिक जांच कराकर दोषियों को सजा की मांग कर रहे हैं। निश्चय ही जांच होकर ही दोषियों को सजा होनी चाहिए लेकिन क्या यहां इसलिए जांच होनी चाहिए कि आरोपी सवर्ण हैं और पीड़ित दलित? 

written by अच्छे लाल प्रजापति

त्तर प्रदेश के हाथरस जिले में बूलगढ़ी गांव निवासी दलित परिवार की लड़की गुड़िया (बदला हुआ नाम) के साथ कथित दुष्कर्म की घटना सुर्खियों में है। गत 14 सितम्बर को घटना घटित हुई। इसके बाद उसे थाने ले जाना, अलीगढ़ अस्पताल में भर्ती कराना, उपचार में विलम्ब होना, आठ दिन बाद लड़की का बयान दर्ज कराना, हालत बिगड़ने पर दिल्ली रेफर करना और दो दिन बाद 29 सितंबर को उसकी संदिग्ध परिस्थितियों में मौत हो जाना, परिवार के सदस्यों की अनुमति के बिना आधी रात को ही शव का अंतिम संस्कार कर देना कई सवाल खड़े करता है। फिर पुलिसकर्मियों द्वारा मीडियाकर्मियों, राजनीतिक पार्टियों और सामाजिक संगठनों के लोगों को बूलगढ़ी जाकर पीड़ित परिवार के सदस्यों से मिलने से रोकना भी जिला प्रशासन की मंशा को संदेह के घेरे में लाता है। आरोप-प्रत्यारोप के बारे में आपसे बहुत कुछ बताने की आवश्यकता नहीं है। हमारी चिन्ता इस बात को लेकर है कि जिस प्रकार से एक दलित महिला के साथ दुष्कर्म के मामले में जातीय सक्रियता उफान पर है, यह बहुत ही भयावह तस्वीर प्रस्तुत कर रही है।

बुधवार, 7 अक्तूबर 2020

OBC पदों की भर्ती में BHU ने की नियमों की अनदेखी, शिक्षक समेत छात्रों ने दर्ज कराया विरोध

विश्वविद्यालय के कुलपति समेत राष्ट्रीय पिछड़ा वर्ग आयोग के अध्यक्ष को लिखा पत्र। विश्वविद्यालय प्रशासन ने दर्शन एवं धर्म विभाग में प्रोफेसर पद पर दावेदारी करने वाले एकल योग्य अभ्यर्थी को "BHU Ordinance-11.A.(1)" का हवाला देकर साक्षात्कार लेने से कर दिया इंकार। धर्मागम विभाग में ओबीसी वर्ग के लिए आरक्षित असिस्टेंट प्रोफेसर पद पर एकल योग्य उम्मीदवार का साक्षात्कार भी लिया... 

 वनांचल एक्सप्रेस ब्यूरो

ससी, एसटी और ओबीसी आरक्षण के विरोधी सवर्ण प्रभुत्व वाले संगठन के रूप में चर्चित राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) के प्रभाव वाला काशी हिन्दू विश्वविद्यालय (BHU) अन्य पिछड़ा वर्ग (OBC) के लिए आरक्षित पदों पर चेहेतों की भर्ती के लिए जमकर नियमों की अनदेखी कर रहा है। विश्वविद्यालय में कार्यरत शिक्षकों और छात्रों के आरोपों की मानें तो विश्वविद्यालय में पिछले छह सालों के दौरान नियमों की अनदेखी कर सैकड़ों फर्जी नियुक्तियां कर दी गई हैं। ऐसा ही एक मामला संस्कृत विद्या धर्म विज्ञान (SVDV) संकाय के धर्मागम विभाग और कला संकाय के दर्शन एवं धर्म विभाग में सामने आया है। विश्वविद्यालय प्रशासन ने दर्शन एवं धर्म विभाग में प्रोफेसर पद पर दावेदारी करने वाले एकल योग्य अभ्यर्थी को "BHU Ordinance-11.A.(1)" का हवाला देकर साक्षात्कार लेने से इंकार कर दिया है। वहीं, विश्वविद्यालय ने धर्मागम विभाग में ओबीसी वर्ग के लिए आरक्षित असिस्टेंट प्रोफेसर पद पर एकल योग्य उम्मीदवार को साक्षात्कार के लिए गत 20 सितंबर को बुलाया था।

मंगलवार, 6 अक्तूबर 2020

बिहार विधानसभा चुनावः भाजपा के भंवरजाल में फंसे नीतीश कुमार

कुछ ऐसी दशाएं भी आ सकती हैं कि आरजेडी और जेडीयू मिलकर सरकार बना लें। वहीं बिहार में अपना जनाधार खो चुकी आरजेडी को पिछले विधान सभा चुनाव में 80 सीटें प्राप्त करना संजीवनी के समान रहा। यदि जनता ने जेडीयू की विफलताओं का सेहरा भाजपा पर बांधकर मतदान किया तो इसमें कोई संदेह नहीं की कि आरजेडी बिहार में सरकार बनाएगी। नीतीश कुमार विपक्ष में भी बैठने लायक भी नहीं रहेंगे। आज भाजपा के जाल में फंसे नीतीश कुमार ऐसे मोड़ पर खड़े हैं, जहां से बाहर निकलने के आसार कम ही दिखाई देते हैं...

written by अच्छे लाल प्रजापति

बिहार में चुनाव नजदीक है। सभी पार्टियां गणित बैठाने में लगी हैं। आरजेडी महागठबंधन के तहत चुनाव लड़ेगी तो भाजपा और जेडीयू मिलकर उसे मात देने की कोशिश करेंगे। भाजपा और जेडीयू में सीटों का बंटवारा भी हो चुका है। भाजपा 121 सीटों पर और जेडीयू 122 सीटों पर चुनाव लड़ रही हैं। इसी एनडीए गठबंधन का हिस्सा रही लोजपा भाजपा के साथ चुनाव लड़ने के लिए तैयार थी लेकिन जेडीयू के साथ नहीं। अब लोजपा प्रमुख राम बिलास पासवान के बेटे चिराग पासवान ने घोषणा की है कि वह अब स्वतंत्र चुनाव लड़ेंगे। 

रविवार, 20 सितंबर 2020

अंतर्राष्ट्रीय शांति दिवस पर विशेषः COVID-19 से उपजी वैश्विक महामारी में दम तोड़ती संयुक्त राष्ट्र संघ की 'थीम'

दुनिया में धुव्रीकरण अशांति का निमंत्रण है। जब-जब शक्ति का ध्रुवीकरण हुआ है, दुनिया में संघर्ष और अशांति बढ़ी है। चाहे प्रथम विश्व युद्ध रहा हो या किसी दो पड़ोसी देशों का युद्ध या भारत जैसे देश में जातीय संरचना में किसी जाति के अंदर सामाजिक शक्ति का ध्रुवीकरण। सभी ने युद्ध, अशांति, शोषण, आदि को बढ़ावा दिया है। आज भी ध्रुवीकरण जारी है। स्थापित महाशक्ति को नवोदित महाशक्ति चुनौती दे रही है। क्या संयुक्त राष्ट्र संघ की “Shaping Peace Together” वाली अवधारणा अपने उद्देश्यों को प्राप्त करने में सफल हो पाएगी?

written by अच्छे लाल प्रजापति

ज 21 सितंबर है। दुनिया भर में आज 'अंतर्राष्ट्रीय शांति दिवस' मनाया जा रहा है। संयुक्त राष्ट्र संघ ने 'चौबीस घंटे अहिंसा और संघर्ष विराम के माध्यम से शांति के आदर्शों की प्राप्ति हेतु' इसे घोषित किया है। आज से करीब 40 साल पहले 1981 में संयुक्त राष्ट्र संघ ने इसे मनाने का निर्णय लिया था और 2001 तक 'विश्व शांति दिवस' के लिए सितंबर महीने का तीसरा मंगलवार तय किया जाता रहा। लेकिन, 2002 में इसके लिए 21 सितम्बर का दिन निर्धारित किया गया। आज विश्व कोरोना वायरस COVID-19 से उपजी वैश्विक महामारी के संकट से जूझ रहा है। इसने यह स्पष्ट कर दिया है कि केवल मानव ही मानव का दुश्मन नहीं है। हम आपस में जिसके लिए लड़ रहे हैं, उसे एक छोटा सा वायरस कभी भी हमसे छीन सकता है। हमारा स्वास्थ्य, हमारी सुरक्षा, हमारा जीवन सभी खतरे में है।

शनिवार, 19 सितंबर 2020

मण्डुवाडीह नहीं, अब 'बनारस' रेलवे स्टेशन कहिए जनाब! रेलवे ने जारी किया 'BSBS' कोड

वाराणसी के वरिष्ठ पत्रकार एवं संपादक एके लारी ने सोशल मीडिया पर पांच साल पहले शुरू किया था अभियान। 

वनांचल एक्सप्रेस ब्यूरो

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के संसदीय शहर वाराणसी स्थित 'मण्डुवाडीह' रेलवे स्टेशन का नाम अब अधिकारिक रूप से 'बनारस' रेलवे स्टेशन हो गया है। भारतीय रेल सम्मेलन के प्रधान सचिव एवं माल डिब्बा विनिमय के निदेशक अजय कुमार नौलखा ने शुक्रवार को पूर्वोत्तर रेलवे, गोरखपुर के मुख्य वाणिज्य प्रबंधक को पत्र लिखकर इसकी स्वीकृति दे दी। 

गुरुवार, 17 सितंबर 2020

PHOTOS: बेरोजगारी और निजीकरण के खिलाफ फूंटा युवाओं का गुस्सा, 'राष्ट्रीय बेरोजगार दिवस' के रूप में मना प्रधानमंत्री का जन्मदिन

देश भर में बेरोजगार छात्रों और युवाओं ने भाजपा की केंद्र एवं राज्य सरकारों के खिलाफ किया प्रदर्शन।

वनांचल एक्सप्रेस ब्यूरो

रोजगार और निजीकरण के मुद्दे को लेकर बेरोजगारों का गुस्सा थमने का नाम नहीं ले रहा है। भाजपा नीत केंद्र सरकार की नीतियों के खिलाफ बेरोजगारों ने बृहस्पतिवार को मोदी सरकार के खिलाफ एक बार फिर मोर्चा खोला। उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के जन्मदिन (17 सितंबर) को 'राष्ट्रीय बेरोजगार दिवस' के रूप में मनाया। लखनऊ, वाराणसी, इलाहाबाद, सोनभद्र आदि शहरों में छात्रों और युवाओं ने विभिन्न बैनर तले भारी संख्या में विरोध प्रदर्शन किया।

शुक्रवार, 11 सितंबर 2020

BHU ने एसोसिएट प्रोफेसर पद पर चेहेतों की भर्ती के लिए UGC के रेगुलेशन को किया दरकिनार, आरक्षित वर्गों के शिक्षकों ने किया विरोध

विश्वविद्यालय ने अकादमिक योग्यताओं में हाईस्कूल और इण्टरमीडिएट में न्यूनतम 55 प्रतिशत अंकों को बनाया अनिवार्य

वनांचल एक्सप्रेस ब्यूरो

नारस स्थित काशी हिन्दू विश्वविद्यालय (BHU) ने शैक्षिक पदों पर चहेतों की नियुक्ति के लिए विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (UGC) के रेगुलेशन-2018 की एक बार फिर धज्जियां उड़ाई हैं। विश्वविद्यालय में एसोसिएट प्रोफेसर पद पर भर्ती के लिए उसने अकादमिक योग्यताओं में हाई स्कूल और इंटर मीडिएट में न्यूनतम 55 प्रतिशत अंकों को अनिवार्य बना दिया है। वहीं, विश्वविद्यालय में कार्यरत आरक्षित वर्गों के शिक्षकों ने इसका विरोध शुरू कर दिया है। उन्होंने कुलपति और एससी-एसटी-ओबीसी स्टैंटिग कमेटी के चेयरमैन को पत्र लिखकर यूजीसी रेगुलेशन-2018 के खिलाफ विश्वविद्यालय प्रशासन के इस निर्णय के खिलाफ विरोध दर्ज कराया है। 

बुधवार, 9 सितंबर 2020

बेरोजगारों की ताली-थाली पर नहीं खुली PM मोदी की जुबान, आज बुझेगी बत्ती-जलेगा दीपक

उत्तर प्रदेश में कानून व्यवस्था को लेकर आज चलेगा जन संगठनों का '#योगी_हटाओ_यूपी_बचाओ' हैशटैग  ट्वीटर अभियान। शाम 6-8 बजे तक चलेगा ट्वीटर अभियान। बेरोजगारों ने रात 9 बजे 9 मिनट तक बत्ती गुल कर दीपक जलाने का किया आह्वान।  

वनांचल एक्सप्रेस ब्यूरो

शिक्षक दिवस (5 सितंबर) पर बेरोजगारों की ताली और थाली की आवाज ने विपक्षी राजनीतिक पार्टियों के कानों में भले ही दर्द पैदा कर दिया हो लेकिन कोरोना वायरस (COVID-19) से उपजे संकट के हालात में ताली-थाली बजवाने वाले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और उनके सहयोगी दलों के प्रमुखों के कानों में उनकी ताली औौर थाली की आवाज आज तक नहीं पहुंची है। इससे नाराज बेरोजगार युवा आज रात 9 बजे घरों की बत्ती गुल कर दीपक जलाकर केंद्र सरकार की नीतियों  का विरोध दर्ज कराएंगे। वहीं, उत्तर प्रदेश में विभिन्न जन संगठनों ने राज्य की कानून व्यवस्था के खिलाफ ट्वीटर पर आज शाम 6 बजे से '#योगी_हटाओ_यूपी_बचाओ' हैशटैग अभियान चलाने का आह्वान किया है।

सोमवार, 7 सितंबर 2020

BHU की असिस्टेंट प्रोफेसर की शिकायत पर वाराणसी के SSP को मानवाधिकार आयोग का नोटिस, 21 सितंबर तक मांगा जवाब

काशी हिन्दू विश्वविद्यालय स्थित महिला महाविद्यालय में समाज शास्त्र की असिस्टेंट प्रोफेसर डॉ. प्रतिमा गोंड़ ने गत 3 जुलाई को लंका थाना पुलिस और भाजपा नेताओं के बीच हुई मारपीट के मामले में आयोग को लिखा था पत्र।

reported by राजीव कुमार मौर्य

वाराणसी के सुंदरपुर चौराहा पर गत 3 जुलाई को सत्ताधारी भाजपा नेताओं और पुलिसकर्मियों के बीच हुई मारपीट के मामले में उत्तर प्रदेश मानव अधिकार आयोग ने वाराणसी के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक (एसएसपी) से जवाब तलब किया है। आयोग ने काशी हिन्दू विश्वविद्यालय स्थित महिला महाविद्यालय में समाज शास्त्र की असिस्टेंट प्रोफेसर डॉ. प्रतिमा गोंड़ की शिकायत का संज्ञान लेते हुए एसएसपी से आगामी 21 सितंबर तक रिपोर्ट मांगा है। साथ ही आयोग ने चेतावनी दी है कि उसकी अपेक्षा के अनुरूप कार्यवाही नहीं किए जाने पर वह न्यायोचित आदेश पारित कर देगा। 

रविवार, 6 सितंबर 2020

जाति वर्चस्व पर 'शिक्षक दिवस' की कहानी में गुम सामाजिक बदलाव के असली गुरु

(भारत के दूसरे राष्ट्रपति और भारत रत्न डॉ. सर्वपल्ली राधाकृष्णन के जन्मदिन को शिक्षक दिवस (5 सितंबर) के रूप में मनाये जाने को लेकर अब सवाल उठने लगे हैं। भारतीय समाज के एक हिस्से में स्त्रियों और वंचित समाज में शिक्षा की अलख जगाने वाली सावित्रीबाई फुले के जन्मदिन को शिक्षक दिवस के रूप में मनाने की आवाज उठने लगी है। वहीं कुछ लोग डॉ. राधाकृष्णन पर अपने शिष्य जदुनाथ सिन्हा की थीसिस को किताब के रूप में प्रकाशित करवाकर खुद उसका लेखक बनने का आरोप लगाते हैं और उनकी योग्यता पर सवाल खड़ा करते हैं। बहुत से लोग हैं जो डॉ. राधाकृष्णन के जन्मदिन के नाम पर मनाए जाने वाले शिक्षक दिवस को जाति वर्चस्व और उसकी मान्यता के चश्मे से देखते हैं। वर्तमान में केंद्र और राज्य सरकारों की ओर से दिए जाने वाले उत्कृष्ठ शिक्षक पुरस्कारों और उसके लिए चयनित शिक्षकों पर भी सवाल उठने लगे हैं। ऐसे में शिक्षक दिवस और उसकी प्रासंगिकता पर केंद्रित यह लेख उस बहस को आगे बढ़ा सकता है।-संपादक)

written by अच्छेलाल प्रजापति

शिक्षक दिवस (5 सितंबर) पर बधाइयां लेते और देते वक्त गुरु के प्रति जो श्रद्धा भाव उभर कर आता है, वह एक बार मंथन करने को विवश करता है। वह कौन था, जिसने उन लोगों के लिए शिक्षा की जरूरत को महसूस किया और अपना सारा जीवन उसी के लिए समर्पित कर दिया,  जिन्हे भारतीय समाज ने शास्त्र सम्मत शिक्षा प्राप्त करने का अधिकार नहीं दिया था। मेरी समझ से वही व्यक्ति सम्पूर्ण समाज का शिक्षक है। यह दिन उसी को समर्पित होना चाहिए। अगर ऐसे नामों में पर गौर करें तो मेरे जेहन में एक दंपति का नाम आता है। वे हैं ज्योतिबा फुले और सावित्रीबाई फुले।

मंगलवार, 1 सितंबर 2020

डॉ. कफील पर रासुका की कार्रवाई गैर-कानूनी, तुरंत रिहा करो-इलाहाबाद उच्च न्यायालय

नागरिकता संशोधन कानून (सीएए) को लेकर भड़काऊ भाषण देने के आरोप में बंद हैं बाल्य रोग विशेषज्ञ डॉ. कफीन खान

वनांचल एक्सप्रेस ब्यूरो

लाहाबाद उच्च न्यायालय ने गोरखपुर स्थित बी.डी. मेडिकल कॉलेज के बाल्य रोग विशेषज्ञ डॉ. कफील खान पर रासुका (एनएसए) लगाए जाने को गैर-कानूनी करार दिया है। न्यायमूर्ति गोविंद माथुर और सौमित्र दयाल सिंह की संयुक्त खंडपीठ ने डॉ. कफील खान के खिलाफ रासुका के तहत की गई पुलिसिया कार्रवाई को रद्द कर दिया है और उन्हें तत्काल जमानत पर रिहा करने का आदेश दिया है। 

रविवार, 30 अगस्त 2020

पंचायत चुनावः दो से अधिक बच्चे वाले नहीं लड़ सकेंगे चुनाव, निर्धारित होगी न्यूनतम शैक्षिक योग्यता

उत्तर प्रदेश सरकार का मंत्रिमंडल विधानसभा के अगले सत्र में पेश कर सकता है पंचायती राज अधिनियम में संशोधन का प्रस्ताव-सूत्र

वनांचल एक्सप्रेस ब्यूरो

भाजपा की योगी सरकार उत्तर प्रदेश पंचायतीराज अधिनियम में संशोधन कर त्रिस्तरीय पंचायतों में दो से अधिक बच्चे वालों को चुनाव लड़ने से रोक सकती है। सरकार में उच्च पदों पर बैठे सूत्रों के मुताबिक कैबिनेट जल्द ही इसका प्रस्ताव लाने वाला है। इसे विधानसभा के अगले सत्र में पेश किया जाएगा। प्रस्ताव में त्रिस्तरीय पंचायतों के विभिन्न पदों पर चुनाव लड़ने के लिए न्यूनतम योग्यता निर्धारित करने की भी तैयारी चल रही है। सूत्रों की मानें तो ग्राम पंचायत चुनाव में उम्मीदवारी के लिए महिला और आरक्षित वर्ग के लिए न्यूनतम शैक्षिक योग्यता 8वीं पास होगी। 12वीं पास उम्मीदवार ही जिला पंचायत सदस्य का चुनाव लड़ सकेंगे। जिला पंचायत सदस्य पद पर महिला और आरक्षित वर्ग के व्यक्ति की उम्मीदवारी के लिए न्यूनतम शैक्षिक योग्यता 10वीं पास होगी। क्षेत्र पंचायत सदस्य पद पर उम्मीदवारी के लिए भी न्यूनतम शैक्षिक योग्यता 10वीं पास रखने पर सहमति बनी है।

शुक्रवार, 28 अगस्त 2020

UGC का 30 सितंबर तक परीक्षा कराने का निर्णय सही, बिना अनुमति छात्रों को प्रमोट नहीं कर सकते राज्यः सुप्रीम कोर्ट


विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (UGC) ने विश्वविद्यालयों और अन्य उच्च शिक्षण संस्थानों को स्नातक और स्नातकोत्तर पाठ्यक्रमों के अंतिम वर्ष या सेमेस्टर की परीक्षाओं को आगामी 30 सितंबर तक संपन्न  कराने का दिया था निर्देश

वनांचल एक्सप्रेस ब्यूरो

विश्वविद्यालयों एवं अन्य उच्च शिक्षा संस्थानों में स्नातक एवं स्नातकोत्तर पाठ्यक्रमों के अंतिम वर्ष या सेमेस्टर की परीक्षाओं को 30 सितंबर तक करा लेने के विश्विद्यालय अनुदान आयोग (यूजीसी) के निर्देश को सुप्रीम कोर्ट ने सही ठहराया है। सुप्रीम कोर्ट ने मामले में सुनवाई के दौरान माना कि राज्य यूजीसी की अनुमति के बिना छात्रों को प्रोन्नति नहीं दे सके हैं। सुप्रीम कोर्ट की बेंच ने यह भी कहा कि जिन राज्यों को कोरोना वायरस से उपजे संकट काल में परीक्षा कराने में दिक्कत है, वे यूजीसी के पास परीक्षा टालने का आवेदन दे सकते हैं। राज्य सरकारें कोरोना संकट काल में अपने से एग्जाम नहीं कराने का फैसला नहीं कर सकती हैं। फिलहाल सुप्रीम कोर्ट ने मामले की सुनवाई पूरी कर फैसला सुरक्षित रख लिया है। 

गुरुवार, 27 अगस्त 2020

सोनभद्र में 64 परिवारों की बेदखली पर गरमाई राजनीति. भाजपा विधायक ने किया बस्ती का दौरा


रॉबर्ट्सगंज विकास खंड के ग्राम पंचायत बहुअरा स्थित राज्य सरकार की भूमि पर दशकों से काबिज 64 परिवारों की बेदखली का मामला। 

वनांचल एक्सप्रेस ब्यूरो

सोनभद्र के ग्राम पंचायत बहुअरा में राज्य सरकार की भूमि पर दशकों से काबिज 64 परिवारों की बेदखली के मुद्दे को लेकर सपा नेताओं संग ग्रामीणों के प्रदर्शन और ज्ञापन के बाद जिले की राजनीति गरमा गई है। भाजपा नेता और घोरावल विधायक डॉ. अनिल कुमार मौर्य ने बृहस्पतिवार को विवादित बस्ती का दौरा किया। उन्होंने बस्ती वालों को बस्ती नहीं उजड़ने का मौखिक आश्वासन दिया लेकिन विवादित भूमि को उनके नाम पट्टा कराकर उन्हें बेदखली से राहत देने की मांग पर खामोश रहे।

बुधवार, 26 अगस्त 2020

सोनभद्र में 64 परिवारों की बेदखली पर ग्रामीणों संग सपा ने फूंका बिगुल, प्रदर्शन कर जिलाधिकारी को सौंपा ज्ञापन

विवादित बस्ती में प्रधानमंत्री ग्रामीण आवास योजना के तहत गरीबों के करीब 25 आवास और करीब 60 लोगों के घर ग्राम पंचायत की ओर से स्वच्छता अभियान के तहत शौचालय बना है।

वनांचल एक्सप्रेस ब्यूरो

सोनभद्र के रॉबर्ट्सगंज विकास खंड के ग्राम पंचायत बहुअरा में उत्तर प्रदेश सरकार की भूमि पर बसे 64 परिवारों की बेदखली के मामले में समाजवादी पार्टी ने भाजपा के पूर्व एमएलसी केदार नाथ सिंह के खिलाफ बिगुल फूंक दिया है। जिलाध्यक्ष विजय यादव के नेतृत्व में समाजवादी पार्टी का एक प्रतिनिधिमंडल मंगलवार को बहुअरा के बेदखल होने वाले ग्रामीणों के साथ जिलाधिकारी से मिला और सरकारी भूमि पर दशकों से रह रहे भूमिहीन ग्रामीणों को किसी भी कीमत पर उजाड़े नहीं जाने से संबंधित ज्ञापन उन्हें सौंपा। जिलाधिकारी से मिलने से पहले ग्रामीणों समेत सपा नेताओं ने उनके कार्यालय के बाहर सांकेतिक प्रदर्शन कर एमएलसी केदार नाथ सिंह के खिलाफ विरोध भी दर्ज कराया।

मंगलवार, 25 अगस्त 2020

मंडल जयंती पर विशेषः नायक जो लिख गया पिछड़ों के सामाजिक परिवर्तन का राजनीतक दस्तावेज

वर्ष 1918 दुनिया में इस नजरिये से बहुत महत्वपूर्ण है कि इसी वर्ष समाज में हाशिये पर धकेली गई दुनिया की करोड़ों आबादी को सामाजिक न्याय और सामाजिक परिवर्तन की धारा में प्रवाहित करके समाज की मुख्यधारा में स्थान दिलाने वाले दो महानायकों का जन्म हुआ। अफ्रीका में अश्वेतोंं के मसीहा नेल्‍सन मंडेला और भारत में पिछड़े समाज के महानायक बी.पी. मण्डल साहब।

written by Vinod Kumar

सामाजिक न्याय और सामाजिक परिवर्तन की लड़ाई के तत्कालीन नेतृत्वकर्ता बी. पी. मण्डल का जन्म 25 अगस्त, 1918 को बनारस में हुआ था। बी. पी. मण्डल का जन्म जब हुआ तो उनका परिवार बहुत ही बुरे दौर से गुजर रहा था। उनके पिता बाबू रास बिहारी लाल मण्डल बहुत गम्भीर रूप से बीमार थे। बी. पी. मण्डल के जन्म के एक कुछ घंटे बाद ही उनके पिता की उसी गम्भीर बीमारी की वजह से मृत्यु हो जाती है। इस समय बाबू रास बिहारी लाल मण्डल मात्र 54 वर्ष के थे। कुछ घंटे पहले पैदा हुए अबोध बालक बी. पी. मण्डल के सर पर पिता का साया नहीं रहा। मण्डल साहब अपने तीन भाई और तीन बहनों में सबसे छोटे थे।

शनिवार, 22 अगस्त 2020

वाराणसी में योगी सरकार के मंत्री अनिल राजभर के करीबी रोशन द्विवेदी ने अनिल यादव को मारी गोली, मौत के बाद बवाल

आरोपी रोशन द्विवेदी चंदौली जिले के चकिया स्थित द्विवेदी आईटीआई कॉलेज और द्विवेदी लॉ कॉलेज का निदेशक।

वनांचल एक्सप्रेस ब्यूरो

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के संसदीय क्षेत्र वाराणसी में योगी सरकार के मंत्री अनिल राजभर के करीबी रोशन द्विवेदी ने शुक्रवार को लंका थाना क्षेत्र के मलहिया इलाके में एक युवक की गोली मारकर हत्या कर दी। जिस युवक की हत्या की गई उस समय उसकी पत्नी हरितालिका तीज की पूजा कर रही थी। 

शुक्रवार, 21 अगस्त 2020

सोनभद्र में 64 परिवारों की बेदखली पर गरमाई राजनीति, सपा ने बताया भाजपा सरकार की साज़िश

ग्रामीणों से बात करते हुए सपा जिलाध्यक्ष विजय यादव
पूर्व जिला पंचायत अध्यक्ष अनिल यादव, जिलाध्यक्ष विजय यादव और जिला महासचिव सईद कुरैशी ने बहुअरा (बंगला) स्थित विवादित बस्ती का किया दौरा।

वनांचल एक्सप्रेस ब्यूरो

सोनभद्र के रॉबर्ट्सगंज विकास खंड के ग्राम पंचायत बहुअरा में उत्तर प्रदेश सरकार की भूमि पर बसे 64 परिवारों की बेदखली के मामले ने राजनीतिक तूल पकड़ लिया है। पूर्व जिला पंचायत अध्यक्ष अनिल यादव समेत समाजवादी पार्टी के एक प्रतिनिधि मंडल ने आज बहुअरा (बंगला) स्थित विवादित बस्ती का दौरा किया और ग्रामीणों की बेदखली की प्रक्रिया को सत्ता पक्ष के लोगों की साज़िश बताया। 

प्रधानमंत्री के जिले में दलित मजदूर की हत्या, ठेकेदार ताड़केश्वर शुक्ला समेत दो नामजद

मृतक मजदूर की पत्नी ने सिंधौरा स्थित एफसीआई गोदाम पर ठेकेदारी करने वाले ताड़केश्वर शुक्ला और ट्रैक्टर मालिक मनोज कुमार यादव पर लगाया आरोप। 

वनांचल एक्सप्रेस ब्यूरो

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के चुनावी जिले वाराणसी में बुधवार की रात एक दलित मजदूर की हत्या कर दी गई। मजदूर का शव बृहस्पतिवार की सुबह अखाड़ा रोड स्थित बसंतपुर गांव मिली। मृतक मजदूर की पत्नी ने चोलापुर थाना क्षेत्र के सिंधौरा स्थित एफसीआई गोदाम पर ठेकेदारी करने वाले ताड़केश्वर शुक्ला और ट्रैक्टर मालिक मनोज कुमार यादव समेत अन्य अज्ञात लोगों पर हत्या करने  का आरोप लगाया है। चोलापुर थाना पुलिस ने मामले में एफआईआर दर्ज कर तफ्तीश शुरू कर दी है।

गुरुवार, 20 अगस्त 2020

नहर प्रखंड ने ग्रामीणों का दावा किया खारिज, SDM के आदेश के बाद सोनभद्र में टूटेगी 64 परिवारों की बस्ती!

भाजपा एमएलएसी केदारनाथ सिंह के पत्र पर रॉबर्ट्सगंज विकास खंड के ग्राम पंचायत बहुअरा में नहर प्रखंड की करीब 15 बीघा भूमि पर दशकों से आबाद 64 परिवारों को बेदखली की नोटिस जारी करने का मामला। 

वनांचल एक्सप्रेस ब्यूरो

सोनभद्र के रॉबर्ट्सगंज विकास खंड के ग्राम पंचायत बहुअरा में नहर प्रखंड की करीब 15 बीघा भूमि पर दशकों से आबाद 64 परिवारों की बस्ती अब कभी भी उजड़ सकती है। उत्तर प्रदेश सिंचाई विभाग के अधीन मिर्जापुर नहर प्रखंड ने उनके दावे को खारिज कर दिया है और उनकी बेदखली का आदेश प्राप्त करने के लिए उप-जिला मजिस्ट्रेट (SDM) के पास जाने की तैयारी कर रहा है।  

सुप्रीम कोर्ट के अधिवक्ता प्रशांत भूषण के समर्थन में विरोध प्रदर्शन, 'आलोचना अवमानना नहीं है' के लगे नारे

इलाहाबाद के बालसन चौराहे पर नागरिक समाज के लोगों ने किया प्रदर्शन। 

वनांचल एक्सप्रेस ब्यूरो

र्वोच्च न्यायालय द्वारा वरिष्ठ अधिवक्ता प्रशान्त भूषण को अवमानना का दोषी घोषित किए जाने के खिलाफ नागरिक समाज ने बुधवार को इलाहाबाद स्थित बालसन चौराहे पर विरोध प्रदर्शन किया। प्रदर्शनकारियों ने 'आलोचना अवमानना नहीं है' के नारे भी लगाए। इस दौरान वक्ताओं ने कहार कि वरिष्ठ अधिवक्ता प्रशांत भूषण के दोनो ट्वीट न्याय की उम्मीद में सर्वोच्च न्यायालय में मामले दर्ज कराने के दौरान आ रही आम वादियों की कठिनाइयों को रेखांकित करती हैं।

बुधवार, 19 अगस्त 2020

सोनभद्र में एक साल से जारी नहीं हुआ अधिवक्ता कूपन, अधिवक्ताओं ने किया प्रदर्शन

रॉबर्ट्सगंज तहसील परिसर में विरोध करते अधिवक्ता
जिला सत्र न्यायालय के अधिवक्ताओं ने वरिष्ठ अधिवक्ता अतुल कुमार पटेल के नेतृत्व में राज्यपाल को संबोधित ज्ञापन तहसीलदार को सौंपा।

वनांचल एक्सप्रेस ब्यूरो

सोनभद्र में करीब एक साल से अधिवक्ता कूपन नहीं जारी किए जाने की वजह से नाराज जिला एवं सत्र न्यायालय के अधिवक्ताओं ने बुधवार को वरिष्ठ अधिवक्ता अतुल कुमार पटेल की अगुआई में विरोध-प्रदर्शन किया। इसके बाद उन्होंने राज्यपाल को संबोधित ज्ञापन रॉबर्ट्सगंज के तहसीलदार को सौंपा। 

NHRC पहुंचा सोनभद्र में 64 परिवारों की बस्ती के बेदखली का मामला

वाराणसी स्थित मानवाधिकार जन-निगरानी समिति के संयोजक लेनिन रघुवंशी ने राष्ट्रीय मानव अधिकार आयोग के अध्यक्ष को लिखा पत्र...

वनांचल एक्सप्रेस ब्यूरो

सोनभद्र के रॉबर्ट्सगंज विकास खंड के ग्राम पंचायत बहुअरा में 64 परिवारों की बस्ती के बेदखली का मामला राष्ट्रीय मानव अधिकार आयोग पहुंच गया है। वाराणसी स्थित मानवाधिकार जन निगरानी समिति ने मंगलवार को आयोग के अध्यक्ष को पत्र लिखकर मामले का संज्ञान लेने का अनुरोध किया है। 

कांग्रेस प्रत्याशी संजीव सिंह ने सोनभद्र में 64 परिवारों की बेदखली की नोटिस का किया विरोध, कहा- भाजपा MLC ने कब्जे की नियत से लिखी चिट्ठी

वाराणसी (स्नातक खंड) विधान परिषद निर्वाचन क्षेत्र से कांग्रेस प्रत्याशी ने योगी सरकार से  पूर्व एमएलसी केदार नाथ सिंह की विधायक निधि से बेटे और बहू को लाभ पहुंचाने के आरोप की जांच कराने की मांग की है...

वनांचल एक्सप्रेस ब्यूरो

सोनभद्र के रॉबर्ट्सगंज विकास खंड के ग्राम पंचायत बहुअरा के 64 परिवारों को नहर प्रखंड की ओर से मिली बेखदखली नोटिस के मामले ने तूल पकड़ लिया है। वाराणसी (स्नातक खंड) विधान परिषद निर्वाचन क्षेत्र से कांग्रेस प्रत्याशी संजीव सिंह ने योगी सरकार की इस नोटिस का विरोध किया है। उन्होंने राज्य सरकार से पूरी प्रक्रिया पर रोक लगाने की मांग की है। साथ ही उन्होंने भाजपा के पर्व एमएलसी केदार नाथ सिंह पर पद का दुरुपयोग कर ग्रामीणों की भूमि पर कब्जा करने की नियत से चिट्ठी लिखने का आरोप लगाया है और उनके इस कृत्य को अन्यायपूर्ण बताया है। उन्होंने केदार नाथ सिंह पर पद का दुरुपयोग कर विधायक निधि के धन से अपने बेटे और बहू को लाभ पहुंचाने का आरोप लगाया है और योगी सरकार से मामले की जांच कराने की मांग की है।  

मंगलवार, 18 अगस्त 2020

आजादी की पूर्व संध्या पर 'सत्यमेव जयते' की हत्या, पत्नी ने कहा-मुझे न्याय चाहिए

रिहाई मंच ने आजमगढ़ के  तरवां थाना क्षेत्र के बांसगांव के ग्राम प्रधान सत्यमेव जयते के परिजनों से की मुलाकात, यूपी को बताया हत्यारों और बलात्कारियों का गढ़...

वनांचल एक्सप्रेस ब्यूरो

"मेरे पति ही मेरे और मेरे तीन बच्चों का सहारा थे। हत्यारों ने उन्हें भी छीन लिया। ये कैसी सरकार है जहां जनता का प्रतिनिधि ही सुरक्षित नहीं है। दिन-दहाड़े गोली मारकर उनकी हत्या कर दी जा रही है।"

निजीकरण के खिलाफ वाराणसी समेत पूरे देश में फूटा बिजली कर्मचारियों का गुस्सा, मार्च निकालकर किया विरोध-प्रदर्शन

बिजली संशोधन विधेयक-2020 को वापस लेने और सरकारी बिजली वितरण कंपनियों को टाटा-अंबानी जैसे पूंजीपतियों के हवाले नहीं किए जाने की मांग की... 

वनांचल एक्सप्रेस ब्यूरो

केंद्र सरकार द्वार केंद्र शासित राज्यों की सरकारी विद्युत वितरण कंपनियों, पूर्वांचल विद्युत वितरण निगम वाराणसी और ओडिसा की तीन सरकारी विद्युत वितरण कंपनियों को निजी हाथों में दिए जाने के खिलाफ बिजली कर्मचारियों ने मंगलवार को पूरे देश में प्रदर्शन किया। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के संसदीय क्षेत्र वाराणसी में बिजली कर्मचारियों ने सबसे पहले विरोध प्रदर्शन कर इसकी शुरुआत की और मार्च निकाला। प्रदर्शन के दौरान बिजली कर्मचारियों ने बिजली संशोधन विधेयक-2020 को वापस लेने और सरकारी विद्युत वितरण कंपनियों के निजीकरण नहीं करने की मांग की। 

बनारसी पत्रकार की मुहिम लाई रंग...'मण्डुवाडीह' नहीं, अब 'बनारस' जंक्शन कहिए जनाब!

केंद्रीय गृह मंत्रालय ने सोमवार को प्रस्ताव को दी मंजूरी।

वनांचल एक्सप्रेस ब्यूरो

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के संसदीय क्षेत्र वाराणसी स्थित 'मण्डुवाडीह' जंक्शन का नाम बदलकर 'बनारस' रखने के प्रस्ताव को केंद्रीय गृह मंत्रालय ने सोमवार को मंजूरी दे दी। समाचार एजेंसी प्रेस ट्र्स्ट ऑफ इंडिया (पीटीआई) ने अधिकारियों के हवाले से प्रस्ताव को मंजूरी देने की खबर ट्विट की है। बता दें कि 'मण्डुवाडीह' जंक्शन का नाम बदलकर 'बनारस' रखने की मुहिम खाटी बनारसी अंदाज वाले वरिष्ठ पत्रकार एवं संपादक असद कमाल लारी उर्फ एके लारी ने 2015 में शुरू की थी। उनकी यह मुहिम धीरे-धीरे राजनीतिक गलियारों से होते-होते सत्ता के गलियारे तक पहुंच गई।

BHU: आज से डाउनलोड होगा प्रवेश पत्र, 24 अगस्त से होंगी प्रवेश परीक्षाएं

24 अगस्त से 31 अगस्त के बीच पहले चरण की प्रवेश परीक्षाओं में सभी स्नातकोत्तर पाठ्यक्रमों (PET) के साथ स्नातक स्तर के एलएलबी, बीएड/बीएड स्पेशल एजुकेशन (मैथमेटिक्स/ह्यूमनिटिज व सोशल साइंसेज/लैंग्वेंज/साइंस) और प्रैक्टिकल परीक्षाओं वाले बीपीएड, बीएफए एवं बीपीए पाठ्यक्रमों के प्रवेश-पत्र जारी...

वनांचल एक्सप्रेस ब्यूरो

गामी 24 अगस्त से काशी हिन्दू विश्वविद्यालय (BHU) की होने वाली परीक्षाओं के लिए प्रवेश-पत्र आज से डाउन लोड किए जा सकेंगे। विश्वविद्यालय के परीक्षा नियंत्रक मोनज पांडेय ने यह जानकारी दी। विश्वविद्यालय प्रशासन की ओर से जारी सूचना के मुताबिक पहले चरण में सभी स्नातकोत्तर पाठ्यक्रमों (PET) के साथ स्नातक स्तर के एलएलबी, बीएड/बीएड स्पेशल एजुकेशन (मैथमेटिक्स/ह्यूमनिटिज व सोशल साइंसेज/लैंग्वेंज/साइंस) और प्रैक्टिकल परीक्षाओं वाले बीपीएड, बीएफए एवं बीपीए पाठ्यक्रमों की प्रवेश परीक्षाएं होंगी। 

Facebook की अधिकारी आंखी दास समेत तीन पर FIR, सोनभद्र निवासी पत्रकार आवेश तिवारी ने की थी शिकायत

आवेश तिवारी और आंखी दास
फेसबुक कंपनी में पब्लिक पॉलिसी की निदेशक (भारत, दक्षिण एशिया और मध्‍य एशिया) आंखी दास ने गत 16 अगस्‍त की रात दिल्‍ली पुलिस की साइबर सेल में शिकायत कर हिमांशु देशमुख, आवेश तिवारी, अनामिका सिंह, ट्राविस बिकल, @justanalysis1 नाम के ट्विटर हैडिल और अन्‍य अज्ञात लोगों के खिलाफ शिकायत दर्ज कराई थी...

वनांचल एक्सप्रेस ब्यूरो

रिष्‍ठ पत्रकार और स्‍वराज एक्‍सप्रेस चैनल के छत्‍तीसगढ़ राज्‍य प्रमुख आवेश तिवारी ने फेसबुक की नीति निदेशक (भारत, दक्षिण एशिया और मध्‍य एशिया) आंखी दास के खिलाफ रायपुर के कबीर नगर थाने में एफआइआर दर्ज करवायी है। एफआइआर में आंखी दास के अलावा दो अन्‍य व्‍यक्तियों विवेक सिन्‍हा और राम साहू को भी नामजद किया गया है।

सोमवार, 17 अगस्त 2020

EXCLUSIVE: कोरोना काल में सोनभद्र में बेघर होंगे 64 परिवार, भाजपा MLC के पत्र पर नोटिस जारी

 उत्तर प्रदेश विधान परिषद सदस्य और भाजपा विधायक दल के मुख्य सचेतक रहे केदार नाथ सिंह ने गत 18 फरवरी को 64 परिवारों की घनी बस्ती खाली कराने के लिए मुख्यमंत्री को लिखा पत्र। उत्तर प्रदेश सिंचाई विभाग के अधीन मीरजापुर नगर प्रखंड के जिलेदार (द्वितीय) ने गत 19 जून को नोटिस जारी कर एक सप्ताह के अंदर मांगा जवाब। रॉबर्ट्सगंज विकास खंड के ग्राम पंचायत बहुअरा में वाराणसी-शक्तिनगर मार्ग किनारे 15 बीघा जमीन का मामला। दो साल पहले मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ बस्ती स्थित विद्यालय में सभा को कर चुके हैं संबोधित। एमएलसी केदारनाथ सिंह ने मुख्यमंत्री के मंच से की थी ग्राम पंचायत बहुअरा को गोद लेने की घोषणा।

reported by Shiv Das 

"आपको सूचित किया जाता है कि आपके द्वारा सिंचाई विभाग की भूमि में ग्राम-बहुअरा के आराजी नं0-....में रकबा 0.037 पर कच्चा, पक्का मकान/जोत-कोड़ करके अतिक्रमण किया गया है जो कि अवैधानिक कार्य है। इस संबंध में यदि आपको कोई आपत्ति हो तो दिनांक 26.06.2020 को 10 बजे दिन कार्यालय जिलेदारी द्वितीय मिर्जापुर नहर प्रखण्ड रॉबर्ट्सगंज सोनभद्र में उपस्थित होकर अपनी सफाई पेश करें। अन्यथा मियाद गुजरने के बाद कोई आपत्ति नहीं सुनी जाएगी और यह समझा जाएगा कि उक्त घटना सत्य है तथा आपके विरुद्ध वैधानिक कार्यवाही अमल में लाई जाएगी।"

शनिवार, 15 अगस्त 2020

मैनपुरी हत्याकांड के विरोध में कुम्हारों ने काली पट्टी बांधकर मनाया शहीद रामचंद्र 'विद्यार्थी' का शहादत दिवस

कुम्हार परिवार में जन्मे शहीद राम चंद्र विद्यार्थी ने 13 साल 4 महीने 13 दिन की उम्र में 14 अगस्त को देश के लिए अपने प्राण न्यौछावर किए थे। 

वनांचल एक्सप्रेस ब्यूरो

मैनपुरी के खरपरी गांव स्थित माधोनगर मोहल्ले निवासी कुम्हार परिवार के पांच लोगों को जिंदा फूंक दिए जाने को लेकर कुम्हारों का विरोध थमने का नाम नहीं ले रहा है। कुम्हारों ने शहीद राम चंद्र 'विद्यार्थी' के शहादत दिवस पर काली पट्टी बांधकर विरोध जताया और राज्य की योगी सरकार पर कुम्हार समुदाय के साथ भेदभाव करने का आरोप लगाया। साथ ही उन्होंने चेतावनी दी कि यह राज्य की भाजपा सरकार पीड़ित परिवार के एक सदस्य को सरकारी नौकरी, 50 लाख रुपये की आर्थिक सहायता और मामले में आरोपी संजय टायसन के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर उसे गिरफ्तार नहीं करती है तो कुम्हार समुदाय बड़े पैमाने पर आंदोलन चलाएगा। 

शुक्रवार, 14 अगस्त 2020

BHU: प्रवेश परीक्षाओं को निरस्त करने की उठी मांग, कुलपति कार्यालय ने छात्रों का ज्ञापन लेने से किया इंकार

ज्वाइंट एक्शन कमेटी, बीएचयू ने गत 11 अगस्त को कुलपति को सौंपा था ज्ञापन

वनांचल एक्सप्रेस ब्यूरो

वाराणसी। कोरोना महामारी से उपजे संकट के हालात में काशी हिन्दू विश्वविद्यालय (BHU) में स्नातक और स्नातकोत्तर पाठ्यक्रमों की होने वाली प्रवेश परीक्षाओं को लेकर छात्रों को विरोध तेज हो गया है। पिछले दिनों ज्वाइंट एक्शन कमेटी (JAC) के ट्वीटर अभियान के बाद आज छात्रों का एक प्रतिनिधिमंडल विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. राकेश भटनागर को ज्ञापन देने केंद्रीय कार्यालय पहुंचा। कुलपति अनुपस्थित थे। छात्रों ने उनके अधीनस्थ कर्मचारियों को ज्ञापन देने की कोशिश की लेकिन उन्होंने उसे लेने से इंकार कर दिया। 

MGAHV: Ph.D हिन्दी साहित्य की 23 सीटों में SC को नहीं मिली एक भी सीट, दिव्यांगों के हाथ भी खाली

हिन्दी साहित्य की 23 सीटों में 10 सीट अनारक्षित हैं। ओबीसी को कुल नौ सीटें दी गई हैं...

वनांचल एक्सप्रेस ब्यूरो

केंद्र और राज्यों में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) नीत भाजपा सरकार के आने के बाद अनुसूचित जाति (एससी), अनुसूचित जनजाति(एसटी) और अन्य पिछड़ा वर्ग (ओबीसी) आरक्षण पर उच्च जातियों का हमला जारी है। विभिन्न विभागों की भर्तियों में आरक्षण नियमों की अनदेखी के बाद अब शिक्षण संस्थाओं में इन समुदायों के आरक्षण को खत्म किया जा रहा है। ऐसा ही एक मामला महाराष्ट्र के वर्धा स्थित महात्मा गांधी अंतराष्ट्रीय हिन्दी विश्वविद्यालय में सामने आया है। विश्वविद्यालय की ओर से शिक्षा सत्र-2020-21 में पीएचडी पाठ्यक्रम में प्रवेश के लिए उपलब्ध सीटों के ब्योरे में बड़े पैमाने पर आरक्षित वर्ग के सीटों सवर्णों के ईडब्ल्यूएस कोटा समेत अनारक्षित वर्ग में प्रकाशित कर दिया गया है। इसका नतीजा यह हुआ है कि हिन्दी साहित्य में शोध के लिए रिक्त 23 सीटों में अनुसूचित जाति वर्ग को एक भी सीट आरक्षित नहीं हुई है।

देश की आजादी के सात दशक बाद भी स्मारक को तरस रहा 13 वर्षीय यह शहीद

 देवरिया जिले के नौतन हथियागढ़ निवासी शहीद राम चंद्र विद्यार्थी की पुण्यतिथि पर विशेषः-

written by राम विलास प्रजापति

देश की आजादी के सात दशक बाद भी देवरिया जिले का 13 वर्षीय शहीद राम चंद्र 'विद्यार्थी' आज भी एक मुकम्मल स्मारक और प्रतिमा की बाट जोह रहा है लेकिन किसी भी सरकार शहीद को उसके शहादत के सम्मान की चिंता नहीं है। कुम्हार समुदाय से आने वाले रामचन्द्र विद्यार्थी का जन्म एक अप्रैल 1929 को उत्तर प्रदेश के देवरिया जनपद के नौतन हथियागढ़ गांव में हुआ था। इनके जन्म के आठवें दिन भगतसिंह और बटुकेश्वर दत्त ने केन्द्रीय असेंबली मे बम फेंका था। इनके पिता का नाम बाबूलाल और माता का नाम मोतीरानी देवी है। प्राथमिक शिक्षा के लिए रामचन्द्र का नामांकन सहोदरपट्टी गांव के प्राथमिक विद्यालय मे कराया गया। वे बचपन से ही कुशाग्र बुद्धि के थे और आसपास के प्रति संवेदनशील रहते थे । बचपन में इनके दादा भरदुल जी वीरों की कहानियां सुनाया करते थे। ऐसी कहानियों को सुनकर वे काफी रोमांचित होते थे। यही से इनके जेहन मे देशभक्ति का जज्बा अंकुरित हुआ। प्राथमिक शिक्षा ग्रहण करने के बाद इनका नामांकन नौतन से 12 किमी. दूर बसंतपुर धूसी विद्यालय में कराया गया। इनकी प्रखर बुद्धि से प्रभावित होकर विद्यालय के गुरजन इनसे प्यार करते और बच्चे भी आदर करते थे। रामचन्द्र अपने अन्य तीन भाइयों से बड़े थे। उनमें से एक भाई रामबड़ाई अभी भी जीवित हैं।